उच्च शिक्षण संस्थानों में शुरू होंगे तीन से छह माह तक के स्किल कोर्स, यूजीसी ने दी मंजूरी

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नई दिल्ली। स्कूल से लेकर उच्च शिक्षण संस्थानों में पढ़ने वाले प्रत्येक छात्र को किसी न किसी हुनर (स्किल) से जोड़ने की मुहिम ने रफ्तार पकड़ी है। फिलहाल, इस दिशा में विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) ने एक बड़ी पहल की है।

शॉर्ट-टर्म स्किल कोर्सों को शुरू करने की मंजूरी

इसके तहत उच्च शिक्षण संस्थानों को तीन से छह महीने तक के शॉर्ट-टर्म स्किल कोर्सों को शुरू करने की मंजूरी दी गई है। जो स्किल के अलग- अलग क्षेत्रों से जुड़े सर्टिफिकेट कोर्स होंगे। इनमें बारहवीं के बाद ही कोई भी छात्र सीधे दाखिला ले सकेगा।

शॉर्ट-टर्म स्किल कोर्सों के लिए गाइडलाइन का मसौदा जारी

यूजीसी ने इसके साथ ही इन शॉर्ट-शर्ट कोर्सों के स्वरूप और फीस आदि से जुड़ी गाइडलाइन का मसौदा भी जारी किया है। साथ ही सभी उच्च शिक्षण संस्थानों से स्किल डेवलपमेंट से जुड़ा सेंटर स्थापित करने का सुझाव भी दिया है। इसके लिए संस्थानों को अपने फंड से इससे जुड़ा मजबूत इंफ्रास्ट्रक्चर भी तैयार करने को कहा गया है।

यूजीसी के अनुसार, ये स्किल कोर्स न्यूनतम 12 क्रेडिट और अधिकतम 30 क्रेडिट स्कोर के होंगे। जिसमें छात्रों को पढ़ाई के साथ प्रैक्टिकल भी कराया जाएगा। विशेष बात यह है कि एकेडमिक बैंक क्रेडिट (एबीसी) के फार्मूले के तहत एक क्रेडिट के लिए छात्रों को कम से कम पंद्रह घंटे पढ़ाई करानी होगी।

छात्रों को फीस वापसी का विकल्प

वहीं, प्रैक्टिकल या स्किल से जुड़े प्रशिक्षण में एक क्रेडिट के लिए 30 घंटे का काम जरूरी होगा। यूजीसी के तहत शॉर्ट टर्म स्किल कोर्स शुरू करने वाले उच्च शिक्षण संस्थानों को हफ्ते में एक घंटे थ्योरी और दो घंटे प्रैक्टिकल कराना होगा। इसके साथ ही प्रत्येक कोर्स की फीस को पहले घोषित करना होगा। छात्रों को फीस वापसी का विकल्प भी देना होगा।
यूजीसी के चेयरमैन प्रोफेसर एम. जगदीश कुमार के अनुसार, उच्च शिक्षण संस्थानों को स्किल से जुड़े कोर्सों को शुरू करने के लिए इन क्षेत्रों में काम करने वाले संस्थानों और उद्योगों से भी सहयोग लेने के लिए कहा गया है। इसके साथ ही संस्थानों से इन कोर्सों को करने वाले छात्रों के प्रशिक्षण और प्लेसमेंट पर भी जोर देने का सुझाव दिया गया है।

इन क्षेत्रों से जुडे शॉर्ट-टर्म कोर्स शुरू करने सुझाव

आर्टीफिशियल इंटेलीजेंस और मशीन लर्निंग, रोबोटिक्स, इंटरनेट ऑफ थिंग्स, स्मार्ट सिटी, डाटा साइंस, क्लॉउड कंप्यूटिंग, वर्चुअल रियलटी,साइबर सिक्यूरिटी, 5जी कनेक्टिविटी, डिजिटल ट्रांसफार्मेशन, इंडस्टि्रयल आटोमेशन, इलेक्ट्रॉनिक्स सिस्टम डिजाइन, इलेक्ट्रानिक्स मैनुफैक्चरिंग, 3डी प्रिटिंग जैसे 30 क्षेत्रों से जुड़े कोर्स शुरू करने का सुझाव दिया है।
आयोग ने यह पहल तब की है, जब नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत 2025 तक स्कूल से लेकर उच्च शिक्षण संस्थानों में पढ़ने वाले कम से कम 50 प्रतिशत छात्रों को किसी न किसी स्किल से जोड़ने का लक्ष्य रखा गया है।

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